बिहार

UPSC Topper : औरंगाबाद के दो होनहार बने आईएएस

औरंगाबाद के दो होनहारों ने संघ लोक सेवा आयोग (यूपीएससी) की सिविल सेवा परीक्षा में कामयाबी की गहरी और लंबी लकीर खींची है. यहां के विरुपाक्ष विक्रम सिंह ने 49वां जगह और   डाक्टर प्रेम प्रकाश ने 130वां रैंक लाया है

विरुपाक्ष विक्रम सिंह औरंगाबाद सदर प्रखंड के जम्होर गांव  के निवासी है. वह आईपीएस अधिकारी विनीत विनायक के पुत्र हैं. उनकी उपलब्धि पर पूरे जम्होरवासियों में खुशी की लहर है. उनके घर पर शुभकामना देने वालों का तांता लगा है. लोगों का बोलना है कि विरुपाक्ष की कामयाबी से पूरे समुदाय का नाम रोशन हुआ है. विरुपाक्ष विक्रम सिंह पटना उच्च न्यायालय के वरिष्ठ अधिवक्ता स्वर्गीय अभय कुमार सिंह के प्रपौत्र हैं. बचपन से ही कुशाग्र बुद्धि वाले विरुपाक्ष विक्रम सिंह का सपना एक प्रशासनिक अधिकारी बनकर राष्ट्र की सेवा करने का था, जो पूरा हुआ. डॉक्टर प्रेम प्रकाश ओबरा प्रखंड के जमुहारा निवासी किसान रवींद्र कुमार चौधरी और रीता देवी के पुत्र हैं. उनकी कामयाबी पर गांव के लोग बहुत खुश है.

पिछली बार यूपीएससी में लाया था 677वां रैंक

डॉ प्रेम प्रकाश पिछली बार की यूपीएससी की परीक्षा में 677वां रैंक लाये थे. उनकी दसवीं तक की पढ़ाई दाउदनगर के विद्या निकेतन से हुई है. प्रेम कुमार और उनके छोटे भाई प्रवीण कुमार दोनों नर्सरी से ही इसी विद्यालय के विद्यार्थी रहे हैं. प्रवीण एसएसबी में जॉब करते हैं. वहीं उनकी बहन पूजा कुमारी चौहान मेडिकल की तैयारी कर रही हैं. डाक्टर प्रेम प्रकाश ने 2001 से लगातार विद्या निकेतन में पढ़ाई की.

2013 में भागलपुर से एमबीबीएस करने के बाद प्रेम प्रकाश को एम्स दिल्ली में जॉब मिली. बाद में जॉब से त्याग-पत्र देकर यूपीएससी की तैयारी प्रारम्भ की. दूसरे कोशिश में कामयाबी भी मिली, लेकिन वह बेहतर रैंक हासिल करना चाहते थे. इस वजह से वह पुनः तैयारी में लग गए. इस वर्ष भी उन्होंने यूपीएससी की परीक्षा दी और तीसरे कोशिश में उन्हें यह कामयाबी हासिल हुई.

दादा का था सपना पोता बने आइएएस 

डॉक्टर प्रेम प्रकाश के पिता रवींद्र कुमार चौधरी यूपी के शक्तिनगर में जॉब करते थे. वहीं उनके दादा रामाधार चौधरी बोकारो स्टील सिटी में ऑपरेटर के पद पर कार्यरत थे. दादा ने बोला कि उनका सपना था कि उनका पोता आईएएस बने. अब वह इस राह पर है.

Related Articles

Back to top button