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इडली-डोसा बेचकर हर महीने ₹5 करोड़ की कमाई, ऐसे हुई रामेश्वरम कैफे की शुरुआत

बेंगलुरु के रामेश्वरम कैफे में हुए बम धमाके ने सबको हिलाकर रख दिया. धमाके के वीडियोज सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे हैं. चारों ओर धुआं, चीख-पुकार के बीच मदद से लिए भागते लोगों की बेबसी वीडियो में दिख रही है. इडली-डोसा जैसे साउथ इंडियन खाने के लिए मशहूर कैफे में धमाके कैसे हुए इसकी वजह अब तक सामने नहीं आई है, लेकिन इस ब्लास्ट ने रामेश्वरम कैफे (Rameshwaram Cafe) को  स्टोर को पूरी तरह तबाह कर दिया. जो कैफे अपने मशहूर डोसा के लिए फेमस है, आज वो धमाके का शिकार हो गया है. रामेश्वरम कैफे के इडली-डोसा के बारे में कहा जाता है कि अगर आप बेंगलुरु आए और यहां का साउथ इंडियन खाना और फिल्टर कॉफी नहीं पी तो फिर आपका सफर पूरा नहीं होता.

10×10 स्क्वायर फुट के कैफे से हुई रामेश्वरम कैफे की शुरुआत 

अपने  इडली-सांभर और फिल्टर कॉपी के लिए पूरे कर्नाटक में फेमस इस कैफे की शुरुआत  10×10 स्क्वायर फुट के एक छोटे से कैफे से हुई. इस कैफी की पॉपुलैरिटी का अंदाजा इसके बाहर की लंबी लाइन से लगा सकते हैं.  चाहे आंधी हो या बारिश यहां खाने के लिए कई किलोमीटर की लंबी लाइन लगती है.  कैफे के बाहर लोगों की भीड़ इतनी होती है कि लोग आपको जमीन पर बैठकर खाते हुए दिख जाएंगे. इसकी शुरुआत पति-पत्नी के जोड़े ने की.

कौन हैं रामेश्वरम कैफे के मालिक   

बेंगलुरु के लोकप्रिय रामेश्वरम कैफे (Rameshwaram cafe) की नींव Altran Ventures प्राइवेट लिमिटेड ने रखी. परिवार की मर्जी के खिलाफ जाकर CA दिव्या राघवेंद्र राव ने अपने पति राघवेंद्र राव के साथ मिलकर इस कैफे की शुरुआत की. साल 2021 में बेंगलुरु के इंदिरा नगर में उन्होंने 10×10 स्क्वायर फुट की दुकान शुरू की, जिसमें  उन्होंने दक्षिण भारतीय खाना, इडली, डोसा, वड़ा, सांभर और फिल्टर कॉफी बेचना शुरू किया. मैकेनिकल इंजीनियर राघवेंद्र के पास फूड इंडस्ट्री में काम का 20 सालों का अनुभव है. वहीं उनकी पत्नी दिव्या और कंपनी की को फाउंडर दिव्या राघवेंद्र राव  ने IIM से पढ़ाई की है. उनके पास सीए की डिग्री है .

हर महीने की कमाई 5 करोड़

दिव्या और राधवेंद्र ने सोशल मीडिया की ताकत का इस्तेमाल करते हुए अपने कैफे की मार्केटिंग की. वो अपने कैफे के बाहर ग्राहकों के साथ फोटो लेकर उसे सोशल मीडिया पर पोस्ट करते थे. आज भी रामेश्वरम कैफे के बाहर रोज ग्राहकों की फोटो ली जाती है, जिसे वो अपने इंस्टाग्राम पेज पर शेयर करते हैं. आपको हैरानी होगी कि हर रोज इस कैफे से 7500 आर्डर डिलीवर किए जाते हैं. दोनों ने कुछ ही दिनों में एक के बाद एक तीन रेस्टोरेंट खोले . आज बेंगलुरू के अलावा उनके रेस्टोरेंट हैदराबाद में भी है.  अगर कमाई की बात करें तो वो हर स्टोर से हर महीने तरीब 5 करोड़ रुपये की कमाई करते हैं. रामेश्वरम कैफे आज एक बड़ा ब्रांड बन चुका है.

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