स्वास्थ्य
गाजर का जूस पीने से आप असमय होने वाली आंखों की परेशानियों से कैसे बच सकते हैं, जानें
आंखें बॉडी का सबसे नाजुक हिस्सा होती हैं। यदि इनकी ठीक से देखभाल न की जाए तो आंखों की रोशनी कम होने लगती हैं। लेकिन यदि आप अपनी डाइट में हरी सब्जियों और फलों को शामिल कर लें तो आंखों में होने वाली परेशानी से बचा जा सकता है।
नेत्र बीमारी जानकार आकाश दुबे बता रहे हैं आंखों को हेल्दी रखने के उपाए…
जामुन | इसमें विटामिन A और C भरपूर मात्रा में पाया जाता है जो आंखों से जुड़ समस्याओं से निजात दिलाकर रोशनी को बढाने में सहायता करता है। |
गाजर | गाजर में कैरोटिनॉइड और बीटा कैरोटीन नामक तत्व पाए जाते हैं जो आंखों को कमजोर होने से बचाता है गाजर का जूस पीने से आप असमय होने वाली आंखों की परेशानियों से बच सकते हैं। |
आम | आम में भी कैरोटिनॉइड भरपूर मात्रा में पाया जाता है इसीलिए इसके सेवन से आंखें निरोग रहती हैं। |
अखरोट | इसमें ओमेगा-3 एसिड पाया जाता है। यदि आपके घर में छोटे बच्चों को आंखों की प्रॉब्लम है तो उनके लिए ये लाभ वाला हो सकता है। |
ब्रोकली | इसमें एंटी ऑक्सीडेंट और विटामिन पाया जाता है। जो आंखों में होने वानी परेशानियों से बचाता है। |
मछली | इसमें ओमेगा-3 फैट एसिट पाया जाता है जो आंखों के ब्लड सेल्स को मजबूत बनाने का काम करता है। |
अंडा | इसमें प्रोटीन और विटामिन A पर्याप्त मात्रा में पाया जाता है जो आंखों के लिए लाभ वाला रहता है। |
खट्टे फल | खट्टे फल जैसे नींबू संतरा नारंगी में विटामिन C के अतिरिक्त B-12 और बीटा कैरोटीन भरपूर मात्रा में पाया जाता है जो आंखों के लिए लाभ वाला है। |
हरी सब्जियां | इनमें विटामिन Aऔर कैरोटीन अधिक मात्रा में पाया जाता है जो आंखों की रोशनी को बढ़ाने में सहायता करते हैं। आपको पालक, मेथी, पत्ता गोभी और मूली के पत्तों में ये दोनों ही तत्व पाए जाते हैं। |
आंखों के कमजोर होने के कारण
कम रोशनी में पढ़ना | कम रोशनी में पढ़ने से आंखों की पुतलियां फैल जाती हैं इससे आपके लिए निकट और दूर की चीजों के बीच फर्क करना कठिन हो जाता है। |
लगातार इलेक्ट्रॉनिक स्क्रीन देखना | शोध के अनुसार, इलेक्ट्रॉनिक स्क्रीन, जैसे हमारे कंप्यूटर,टीवी और स्मार्टफोन से निकालने वाली नीली रोशनी सूरज की पराबैंगनी किरणों की तरह नुकसानदायक हो सकती है। जो आंखों को हानि पहुचातीं हैं। |
धूम्रपान |
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अल्ट्रावॉयलेट किरणों का प्रभाव | धूप में अधिक देर रहते से मोटियाबिंद का खतरा बढ जाता है। सूर्य की अल्ट्रावॉयलेट किरणें कोर्निया को जला देती हैं जिससे आंखों की रोशनी पर उल्टा असर पड़ता है। |
आंखों को कम झपकना |
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