ठंडियों में क्यों होती है कान में पीड़ा, जानें
ठंड के मौसम में अक्सर कई लोगों को कान दर्द की कम्पलेन होती है। कान से प्रारम्भ होकर यह दर्द कई बार नाक कर पहुंच जाता है। क्योंकि कान के अंदर का स्ट्रक्चर बहुत नाजुक होता है। कान की नसें दिमाग और गले से होकर गुजरती हैं। ऐसे में यदि आपको भी सर्दियों में कान दर्द की कम्पलेन होती है तो यह आर्टिकल आपके लिए है। आज इस आर्टिकल के जरिए हम आपको कान दर्द की वजह और इससे बचने के तरीकों के बारे में बताने जा रहे हैं।
फ्लू और इंफेक्शन की वजह से कान में दर्द
सर्दियों के मौसम में अक्सर लोग जुकाम-बुखार से पीड़ित हो जाते हैं। वहीं जुकाम के बाद कान दर्द होने लगता है। कान से गले तक जाने वाली यूस्टेशियन ट्यूब के कारण बैक्टीरिया हमारे नाक तक पहुंच जाता है। मौसमी इंफेक्शन के कारण कान का दर्द बढ़ जाता है और कई बार तो कान बहने लगता है।
नाक में जमाव होना
जब गले से कान में जाने वाली यूस्टेशियन ट्यूब में किसी तरह का जमाव हो जाता है, तो कान दर्द अधिक बढ़ जाता है। हांलाकि सर्दियों में ऐसा अधिक होता है। वहीं यदि ठीक समय पर इसका उपचार नहीं किया गया, तो यह गंभीर रोग का रूप ले सकती है।
जुकाम और खांसी की समस्या
सर्दी-जुकाम में छींकने और खांसने से कान के अंदरुनी हिस्से पर दबाव पड़ता है। ऐसे में जब कान की नसों में दबाव पड़ता है, तो दर्द प्रारम्भ हो जाता है।
साइनस की समस्या
साइनस की परेशानी से परेशान आदमी के कान में दर्द हो सकता है। ऐसे में यदि आप बार-बार दवा ले रहे हैं और इसका असर नहीं होता है, तो फौरन चिकित्सक की राय लेनी चाहिए। जिससे कि इस परेशानी से छुटकारा पाया जा सके।
सर्द हवा से कान दर्द
सर्दियों में जब ठंडी हवा कान में लगती है, तो इसका फौरन असर कान की नसों पर पड़ता है। इसलिए सर्दियों में बाहर निकलने से पहले कान और नाक को अच्छे से कवर कर लें। जिससे कि आप इस परेशानी से बचे रह सकें।
किस उम्र में हो सकता है कान दर्द
आपको बता दें कि बच्चों से लेकर बूढ़ों तक के लोगों को कान पकने की परेशानी हो सकती है। वायरल या फंगल इन्फेक्शन के कारण कान बहने लगता है। वहीं महिलाएं कान छिदवा लेती हैं, जिसके कारण उनको इंफेक्शन हो सकता है और कान दर्द की परेशानी हो सकती है। वहीं कान में गंदगी और मैल होने पर भी कान पकने की परेशानी हो सकती है। साथ ही कान में फोड़े की परेशानी भी हो सकती है।
कान बहने का इलाज
हर रोगी के लिए कान बहने की परेशानी का उपचार भिन्न-भिन्न हो सकता है। ऐसे में यह परेशानी होने पर सबसे पहले चिकित्सक से राय लें। क्योंकि चिकित्सक इसका कारण पता लगाने के बाद इसके लक्षणों के आधार पर उपचार करते हैं। वहीं यदि रोगी को गंभीर कान दर्द हो रहा है, तो इस दर्द को कंट्रोल करने के लिए कुछ दवाएं या ड्रॉप्स दिए जाते हैं। तो वहीं कुछ लोगों को कान की साफ-सफाई का ध्यान रखने की राय दी जाती है।
कान पकने का घरेलू इलाज
बैक्टीरिया, वायरल और फंगल इन्फेक्शन के अतिरिक्त कान में फोड़ा और चोट आदि लगने के कारण भी कान पक सकता है। इस परेशानी से बचने के लिए घरेलू उपचार का सहारा ले सकते हैं।
अगर इंफेक्शन के कारण कान पक गया है, तो पिपरमिंट का इस्तेमाल लाभ वाला होता है।
वहीं कान में एप्पल साइडर विनेगर को हल्का गर्म करके डालने से दर्द में राहत मिल सकती हैं।
कान दर्द की परेशानी से राहत पाने के लिए लहसुन के ऑयल का इस्तेमाल भी लाभ वाला होता है।
डिस्क्लेमर: इस लेख के सुझाव सामान्य जानकारी के लिए हैं। इन सुझावों और जानकारी को किसी चिकित्सक या मेडिकल प्रोफेशनल की राय के तौर पर न लें। किसी भी रोग के लक्षणों की स्थिति में चिकित्सक की राय जरूर लें।