आज म्यांमार में आये भूकंप के झटके,जो रिक्टर स्केल पर झटकों की तीव्रता 4.3 की गयी दर्ज
Earthquake: एशिया महाद्वीप में इस समय दिन-प्रतिदिन भूकंप आ रहे हैं। इन भूकम्पों की वजह से आए दिन परेशान होते हुए दिखते हैं। रविवार को नेपाल में 6 से अधिक की तीव्रता से भूकंप के झटके महसूस किए गए थे। वहीं अब सोमवार की सुबह लगभग साढ़े 6 बजे म्यांमार में के झटके आए। राष्ट्रीय भूकंप विज्ञान केंद्र के अनुसार, रिक्टर स्केल पर इन झटकों की तीव्रता 4.3 दर्ज की गई। हालांकि इससे किसी तरह के जानमाल के हानि की समाचार नहीं है।
क्यों आते हैं भूकंप?
हाल के दिनों में दुनिया के विभिन्न हिस्सों में भूकंप की घटनाओं में बढ़ोतरी देखी जा रही है। दरअसल, हमारी धरती के भीतर 7 टेक्टोनिक प्लेट्स हैं। ये प्लेट्स लगातार अपने जगह पर घूमते रहती हैं। हालांकि, कभी-कभी इनमें विवाद या घर्षण भी होता है। इसी कारण धरती के विभिन्न इलाकों में लगातार भूकंप की घटनाएं देखने को मिलती रहती हैं। हिंदुस्तान का उत्तरी क्षेत्र हिमालय के करीब है। उत्तर हिंदुस्तान से पूर्वोत्तर हिंदुस्तान तक फैले हिमालय क्षेत्र में दो विशाल टेक्टोनिक प्लेटों की सीमा पर स्थित होने के कारण हिंदुस्तान और नेपाल में भूकंप आते रहते हैं। इस कारण इसके झटके दिल्ली में भी महसूस होते हैं।
रिक्टर स्केल और भूकंप की तीव्रता का संबंध?
- 0 से 1.9 रिक्टर स्केल पर भूकंप आने पर केवल सीज्मोग्राफ से ही पता चलता है।
- 2 से 2.9 रिक्टर स्केल पर भूकंप आने पर हल्का कंपन होता है।
- 3 से 3.9 रिक्टर स्केल पर भूकंप आने पर कोई ट्रक आपके निकट से गुजर जाए, ऐसा असर होता है।
- 4 से 4.9 रिक्टर स्केल पर भूकंप आने पर खिड़कियां टूट सकती हैं। दीवारों पर टंगी फ्रेम गिर सकती हैं।
- 5 से 5.9 रिक्टर स्केल पर भूकंप आने पर फर्नीचर हिल सकता है।
- 6 से 6.9 रिक्टर स्केल पर भूकंप आने पर इमारतों की नींव दरक सकती है। ऊपरी मंजिलों को हानि हो सकता है।
- 7 से 7.9 रिक्टर स्केल पर भूकंप आने पर इमारतें गिर जाती हैं। जमीन के अंदर पाइप फट जाते हैं।
- 8 से 8.9 रिक्टर स्केल पर भूकंप आने पर इमारतों सहित बड़े पुल भी गिर जाते हैं।
- 9 और उससे अधिक रिक्टर स्केल पर भूकंप आने पर पूरी तबाही। कोई मैदान में खड़ा हो तो उसे धरती लहराते हुए दिखेगी। समंदर निकट हो तो सुनामी। भूकंप में रिक्टर पैमाने का हर स्केल पिछले स्केल के मुकाबले 10 गुना अधिक शक्तिशाली होता है।