फर्रुखाबाद पहुंचे ओमप्रकाश राजभर,दलबदलू वाले बयान पर दी प्रतिक्रिया,कहा…
सुहेलदेव भारतीय समाज पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष ओमप्रकाश राजभर मंगलवार को फर्रुखाबाद पहुंचे। यहां उन्होंने सपा पर धावा बोला। उन्होंने समाजवादी पार्टी को चोर उचक्कों, माफियाओं और गरीबों की जमीनों पर कब्जा करने वाली पार्टी कहा है। उन्होंने बोला कि जो अपने बाप का नहीं हुआ, वह किसी का नहीं हो सकता। उन्होंने सपा पर इल्जाम लगाया कि पिछड़ों को कभी नेता बनाने का कार्य नहीं किया है।
ओम प्रकाश राजभर ने मीडिया से बात करते हुए सपा पर करारा धावा बोला। वहीं अनिल राजभर का बयान आया है कि राजभर समाज दलालों के माध्यम से नहीं जुड़ेगा। इस पर ओपी राजभर ने बोला कि यह उनका पर्सनल बयान है। समाजवादी पार्टी द्वारा दगा हुआ कारतूस बताए जाने पर समाजवादी पार्टी पर पलटवार करते हुए ओमप्रकाश राजभर ने बोला कि वह 2017 का चुनाव हारे, 2019 का चुनाव हारे, 2022 का चुनाव हारे, जिला पंचायत का चुनाव हारे, नगर पंचायत का चुनाव हारे, तो हारने वाला दगा हुआ कारतूस ही होता है।
दलबदलू वाले बयान पर दी प्रतिक्रिया
घोसी चुनाव को लेकर को लेकर दलबदलू वाले पूछे गए प्रश्न पर बोला ओमप्रकाश राजभर ने बोला कि दलबदलू तो उनके चाचा शिवपाल यादव भी हैं। उन्होंने जब प्रगतिशील सपा बनाई थी। उसके बाद उनका पहला बयान आया था कि सपा में एक शकुनी है। जिसे इस क्षेत्र के लोग चश्मा वाला बताते हैं। यह शिवपाल सिंह का ही बयान है और उन्होंने बोला था कि सपा में चोर उचक्के शामिल हो गए हैं, गरीबों की जमीन पर कब्जा करने वाले लोग शामिल हो गए हैं, समाजवादी पार्टी में शराब माफिया लोग हाभी हो गए हैं, यह शिवपाल जी का ही बयान है।
नेताजी यानी मुलायम सिंह यादव का एक बयान हमने पढ़ा है, जिसमें उन्होंने बोला था कि राष्ट्र में मैं पहले नेता हूं, जो मैंने अपने बेटे को सीएम बनाया है और हमारा बेटा जब हमारा नहीं हुआ और चाचा शिवपाल को मंत्री पद से हटा दिया और उनका नहीं हुआ तो राष्ट्र में किसी का नहीं हो सकता है।
फर्रुखाबाद में हैं 14 थाने
ओमप्रकाश राजभर ने बोला चार बार सपा की गवर्नमेंट बनी और सपा ने पिछड़ों को नेता नहीं बनने दिया । बल्कि पिछड़ों का अधिकार लूटा है और बोला कि आपके फर्रुखाबाद में 14 पुलिस स्टेशन हैं, जिनमें से किसी पर भी उन्होंने अनेक जातियां गिनाई। उन जातियों का कोई थानाध्यक्ष तैनात नहीं रहा। उन्होंने बोला कि अखिलेश और शिवपाल सिंह के कारनामे और जो नेताजी नहीं रहे, उनके कारनामे थे कि 25 का स्टाफ यदि सिपाही का है तो 8 से 10 अपने बिरादरी को बनाए हैं। आज जाकर सामने सब कुछ दिख रहा है।
उन्होंने प्रश्न दागते हुए बोला कि पिछड़ों के 27 प्रतिशत रिजर्वेशन का अधिकार किसने लूटा है 5 वर्ष अखिलेश जी ने लूटा। उन्होंने बोला कि 30 सितंबर 2013 को उच्च न्यायालय ने बोला की जो 27 प्रतिशत पिछड़ों को आरक्षण मिल रहा है इसका फायदा कुछ जातियां उठा रही हैं। यूपी गवर्नमेंट बांटकर इसका सबको हिस्सा दे।
हमलावर होते हुए ओपी राजभर ने बोला कि सीएम कौन रहा, अखिलेश यादव क्या किया? उन्होंने और उच्च न्यायालय के आदेश को भी नहीं माना। यह एक प्रमाण है और यह न्यायालय के आदेश की बात मैं कर रहा हूं। हम उनको चुनौती देते हैं कि उनके कार्यकाल में किसी नाई के बेटा को, किसी मलाह के बेटा को, निषाद के बेटा को, लोह के बेटा को, चौहान के बेटा को, बेनाह के बेटा को, केवट, राजभर बेटा को, उन्होंने अनेक पिछड़ी जातियों का उदाहरण दिया और बोला किसी को बता दें कि अपनी कलम से तैनात किए हो ।
स्वामी प्रसाद सत्ता के लिए परेशान
स्वामी प्रसाद मौर्य पर धावा बोलते हुए बोला जब वह चार बार बीएसपी में सरकार में मिनिस्टर रहे तब उनको कुछ नहीं पता लगा। और 5 वर्ष बीजेपी गवर्नमेंट में मिनिस्टर रहे तब कुछ नहीं तब सब कुछ ठीक था और वह सत्ता के लिए परेशान है । उनको वहां पर लगाया गया है। सपा में को रसातल में नहीं पहुंचा देंगे तब तक वहां से हटने वाले नहीं हैं।