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क्या है पंजाब की नई खेल नीति? देखिए कितना मिलेगा डिफेंस प्राइज और कितनी है कोच की सैलरी

पंजाब खेल नीति- पिछली कैबिनेट बैठक में पंजाब गवर्नमेंट ने राज्य के लिए नयी खेल नीति लागू की जिसकी जानकारी खेल मंत्री गुरमीत सिंह मीत हेयर ने दी नयी नीति बनाने के लिए खेल विभाग द्वारा जानकारों की एक समिति का गठन किया गया था, जिसमें हॉकी ओलंपियन और अर्जुन अवार्डी सुरिंदर सिंह सोढ़ी, द्रोणाचार्य अवार्डी और पूर्व मुख्य बॉक्सिंग कोच गुरबख्श सिंह संधू, पंजाब ओलंपिक एसोसिएशन के वरिष्ठ उपाध्यक्ष और पूर्व डीजीपी शामिल थे. डाक्टर राजदीप सिंह गिल, जो कई विश्वविद्यालयों में खेल निदेशक रह चुके हैं. राज कुमार शर्मा और पंजाब स्पोर्ट्स यूनिवर्सिटी पटियाला के वाइस चांसलर लेफ्टिनेंट जनरल जेएस चीमा के अतिरिक्त एनआईएस, सीरिया. उच्च शिक्षा एवं स्कूली शिक्षा खेल से जुड़े प्रतिनिधि शामिल थे. पंजाब पैरा स्पोर्ट्स एसोसिएशन के प्रतिनिधियों और जिला खेल अधिकारी की भागीदारी के बिना आम जनता से सुझाव लिए गए.

ग्राम केंद्र
सभी उम्र समूहों की शारीरिक फिटनेस को ध्यान में रखते हुए, क्षेत्रीय आवश्यकताओं को देखते हुए ग्राम स्तर पर खेल के मैदान स्थापित किए जाएंगे. कुल बजट का 25 फीसदी एकमुश्त मिलान आर्थिक सहायता (प्रति ग्राम अधिकतम 10 लाख रूपये) का प्रावधान होगा. ढाई किमी लंबे दो मीटर के जॉगिंग/पैदल ट्रैक के लिए 40,000 रुपये प्रति किमी का एकमुश्त आर्थिक सहायता प्रदान किया गया है. खिलाड़ी की क्षमता परखने के लिए बैटरी टेस्ट होगा.

क्लस्टर केंद्र
6-17 उम्र वर्ग के 60,000 बच्चों की जरूरतों को पूरा करने के लिए बेहतर कोचिंग, खेल उपकरण और जलपान के साथ 1000 क्लस्टर स्तर की खेल नर्सरियां स्थापित की जाएंगी. इसका उद्देश्य 4-5 किमी के दायरे में प्रत्येक बच्चे को खेल का मैदान मौजूद कराना है. 25 लाख रुपये प्रति नर्सरी के हिसाब से इसका कुल बजट 250 करोड़ रुपये होगा.

राष्ट्रीय स्तर की प्रतियोगिताओं के लिए खिलाड़ियों को तैयार करने के लिए प्रत्येक जिले में 200 खिलाड़ियों के लिए 200 खेल छात्रावासों के साथ जिला स्तरीय खेल सुविधाओं का निर्माण किया जाना है. 250 करोड़ रुपये के बजट के साथ राज्य भर में कुल 5000 खिलाड़ियों की क्षमता होगी .

अत्याधुनिक सुविधाओं से लैस राज्य स्तरीय केंद्र स्थापित किये जाने हैं. जालंधर, माहिलपुर, मोहाली, पटियाला, लुधियाना, बठिंडा और अमृतसर के अतिरिक्त जिला स्तर के ढांचे को राज्य स्तर पर अपग्रेड किया जाना है. पंजाब में हरियाणा के 2017 कोचों की तुलना में सिर्फ़ 309 कोच हैं और नयी खेल नीति के मुताबिक 2360 कोच प्रस्तावित हैं. नई खेल नीति के अनुसार 35 ग्रेड वाले खेलों की ग्रेडिंग के अतिरिक्त ओलंपिक, एशियन और कॉमनवेल्थ गेम्स में शामिल खेलों की भी ग्रेडिंग होगी ग्रेडेशन सर्टिफिकेट औनलाइन देने की प्रबंध की जायेगी

कोच और पीटीआई की भर्ती में खेल उपलब्धियों को 30 फीसदी अहमियत दी जाएगी. खिलाड़ियों के चयन में पारदर्शिता और निष्पक्षता लाने के लिए नए नियम लाए जाएंगे जिसके अनुसार जानकार प्रशिक्षकों को पर्यवेक्षक के रूप में नियुक्त किया जाएगा ताकि किसी भी खिलाड़ी को धक्का न लगे.

नामांकित खिलाड़ियों के लिए नौकरियाँ (पहली बार)

पंजाब का नाम रोशन करने वाले खिलाड़ियों को जॉब देने के लिए उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले खिलाड़ियों की भर्ती के लिए कैडर स्थापित करने को मंजूरी. 40 उप निदेशक, 92 वरिष्ठ कोच, 138 कोच और 230 जूनियर कोच सहित कुल 500 पदों का प्रावधान. जैसे किसी ओलिंपिक मेडल या एशियन गोल्ड के लिए सीधे ग्रुप ए डिप्टी डायरेक्टर की जॉब देना

खेलों की तैयारी के लिए नकद पुरस्कार राशि (पहली बार)
खिलाड़ियों को पदकों के लिए तैयार करने के लिए अंतर्राष्ट्रीय प्रतियोगिताओं के लिए क्वालीफाई करने पर पहली बार नकद पुरस्कार राशि देने का प्रावधान किया गया है.

ओलंपिक खेलों और पैरालंपिक के लिए 15 लाख रुपये
– 8 लाख रुपये

– पहले ओलंपिक खेलों के स्वर्ण, रजत और कांस्य पदक विजेताओं को 2.25 करोड़, डेढ़ करोड़ और एक करोड़ रुपये देने की नीति थी, जिसे अब बढ़ाकर क्रमश: 3 करोड़, 2 करोड़ और एक करोड़ कर दिया गया है इसके अतिरिक्त अब नकद पुरस्कारों के लिए अन्य नयी खेल प्रतियोगिताओं को भी जोड़ा गया है.

– पहले की तरह पैरालंपिक पदक विजेता को नकद पुरस्कार राशि दी जाती थी. अब स्पेशल ओलंपिक, डेफ ओलंपिक, पैरा वर्ल्ड गेम्स (75, 50 और 30 लाख रुपये)

– बैडमिंटन का थॉमस कप, ओबर कप, बीडब्ल्यूएफ वर्ल्ड टूर फाइनल (75, 50 और 40 लाख रुपये)
सभी टेनिस ग्रैंड स्लैम (75, 50 और 40 लाख रुपये)
– हॉकी का अजलान शाह हॉकी कप (75, 50 और 40 लाख रुपये) 40 लाख)
– डायमंड लीग और मान्यता प्राप्त अंतर्राष्ट्रीय संगठनों के मान्यता प्राप्त टूर्नामेंट (75, 50 और 40 लाख रुपये)
बधिर विश्व कप, ब्लाइंड विश्व कप (60, 40 और 20 लाख रुपये)

प्रशिक्षकों और प्रमोटरों के लिए खेल पुरस्कारों का शुरुआत (पहली बार)

बलबीर सिंह सीनियर कोच अवार्ड
ओलंपियन बलबीर सिंह सीनियर कोच अवार्ड राष्ट्रीय स्तर के द्रोणाचार्य अवार्ड की तर्ज पर कोचों के लिए प्रारम्भ किया जा रहा है, जिसमें 5 लाख रुपये की पुरस्कार राशि, ट्रॉफी और ब्लेज़र शामिल होंगे.

मिल्खा सिंह खेल प्रोत्साहन पुरस्कार
मिल्खा सिंह खेल प्रमोटर्स/संगठन पुरस्कार किसी भी निजी संगठन या खेल को बढ़ावा देने वाले आदमी के लिए प्रारम्भ किया जा रहा है. यह पुरस्कार वर्ष में दो लोगों को दिया जाएगा. पुरस्कार राशि में 5 लाख रुपये, स्मृति चिन्ह, ब्लेज़र और प्रमाण पत्र शामिल होंगे.

बलबीर सिंह सीनियर वजीफा योजना (पहली बार)
राष्ट्रीय स्तर पर पदक विजेताओं को मासिक वजीफा देने के लिए पहली बार बलबीर सिंह सीनियर वजीफा योजना प्रारम्भ की गई है. इस योजना के अनुसार वरिष्ठ स्तर पर राष्ट्रीय पदक विजेता को 16,000 रुपये की छात्रवृत्ति और जूनियर स्तर पर राष्ट्रीय पदक विजेता को 12,000 रुपये की छात्रवृत्ति दी जाएगी.

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