New Criminal Laws:जाने तीन नये क्रिमिनल लॉ में क्या है खास बात…
लोकसभा ने अंग्रेजों के काल से चले आ रहे तीन अपराधी लॉ (New Criminal Laws) के जगह पर गवर्नमेंट द्वारा लगाए गए विधेयकों को बुधवार को स्वीकृति दे दी। सदन ने लंबी चर्चा और गृहमंत्री अमित शाह के विस्तृत उत्तर के बाद भारतीय इन्साफ संहिता (बीएनएस) विधेयक, 2023, भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता (बीएनएसएस) विधेयक, 2023 और भारतीय साक्ष्य (बीएस) विधेयक, 2023 को ध्वनमित से अपनी स्वीकृति दी। ये तीनों विधेयक भारतीय दंड संहिता (आईपीसी), 1860, दंड प्रक्रिया संहिता (सीआरपीसी),1898 और भारतीय साक्ष्य अधिनियम, 1872 के जगह पर लाये गए हैं।
तीन नये अपराधी लॉ में क्या है खास बात
- राजद्रोह को समाप्त कर उसकी स्थान पर देशद्रोह लाया जा रहा है।
- देश के विरुद्ध गए तो कड़ी से कड़ी सजा
- मॉब लिंचिंग के लिए फांसी की सजा
- भड़काऊ भाषण देने पर 3 से 5 वर्ष की सजा
- बच्ची से बलात्कार पर गुनेहगार को मृत्यु की सजा
- गैंगरेप के गुनेहगार को जीवन भर जेल की सजा
- दुष्कर्म मुकदमा में न्यायालय की इजाजत के बिना प्रकाशित किया जो 2 वर्ष की सजा
CrPC में 531 धाराएं होंगी
लोकसभा में गृह मंत्री अमित शाह ने कहा, CrPC में पहले 484 धाराएं थीं, अब इसमें 531 धाराएं होंगी। 177 धाराओं में परिवर्तन किए गए हैं और 9 नयी धाराएं जोड़ी गई हैं। 39 नयी उप-धाराएं जोड़ी गई हैं। 44 नए प्रावधान जोड़े गए हैं।
‘मॉब लिंचिंग’ घृणित अपराध, कानून में इस क्राइम में फांसी की सजा का प्रावधान
केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने कहा, ‘मॉब लिंचिंग’ घृणित क्राइम है और नये कानून में इस क्राइम में फांसी की सजा का प्रावधान है। शाह ने कहा, मैंने तीनों विधेयकों को गहनता से पढ़ा है और इन्हें बनाने से पहले 158 परामर्श सत्रों में भाग लिया है।
आपराधिक इन्साफ प्रणाली में आमूल-चूल परिवर्तन किया जा रहा: शाह
CrPC और IPC में परिवर्तन लाने वाले बिल पर चर्चा का उत्तर देते हुए केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने कहा, पीएम मोदी गुलामी के चिह्न को मिटा रहे हैं। तीनों का कानूनों को विदेशी शासकों ने बनाए। उन्होंने शासन के लिए कानून बनाए थे। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने तीन नये विधेयकों पर चर्चा का उत्तर देते हुए कहा- आपराधिक इन्साफ प्रणाली में आमूल-चूल परिवर्तन किया जा रहा है।
200 वर्ष पुराने कानूनों में बदलाव
अमित शाह ने कहा, हम 200 वर्ष पुरान कानूनों में परिवर्तन कर रहे हैं। पीएम नरेन्द्र मोदी ने लाल किले की प्राचीर से औपनिवेशिक कानूनों से मुक्ति की बात कही थी, उसी के अनुसार गृह मंत्रालय ने आपराधिक कानूनों में परिवर्तन के लिए गहन विचार किया। अमित शाह ने आपराधिक इन्साफ प्रणाली से संबंधित तीन नये विधेयकों पर लोकसभा में चर्चा का उत्तर देते हुए कहा, नये कानून आदमी की स्वतंत्रता, मानव के अधिकार और सबके साथ समान व्यवहार के तीन सिद्धांतों के आधार पर बनाये जा रहे हैं।
सेना, देश, स्त्री और बच्चे हमारी प्राथमिकता: शाह
अमित शाह ने आपराधिक इन्साफ प्रणाली से संबंधित तीन नये विधेयकों पर लोकसभा में चर्चा का उत्तर देते हुए कहा, हमारी सरकारी की अहमियत सेना, देश, स्त्री और बच्चे हैं। लोकसभा में बोला कि नये कानूनों में स्त्रियों और बच्चों को प्रभावित करने वाले कानूनों को अहमियत दी गई है, उसके बाद मानव अधिकारों से जुड़े कानूनों और राष्ट्र की सुरक्षा से संबंधित कानूनों को अहमियत दी गई है।
मोदी गवर्नमेंट पहले बार आतंकवाद की व्याख्या करने जा रही: शाह
तीन कानूनों में परिवर्तन वाली बिल पर चर्चा का उत्तर देते हुए अमित शाह ने कहा, मोदी गवर्नमेंट पहले बार आतंकवाद की व्याख्या करने जा रही है, इसके साथ ही राजद्रोह को देशद्रोह में बदला जा रहा है।