डायबिटीज के मरीज पिएं इन 6 सब्जियों का जूस,बिना दवा के रहेगा सुगर कंट्रोल
डायबिटीज एक ऐसी रोग है जिसमें शरीर इंसुलिन का ठीक से उत्पादन या इस्तेमाल नहीं कर पाता है। इंसुलिन एक हार्मोन है जो खून में शुगर लेवल को नियंत्रित करता है। डायबिटीज के रोगियों को अपने ब्लड शुगर को नियंत्रित करने के लिए दवा, इंसुलिन या दोनों का सेवन करने की जरूरत हो सकती है। इसके अलावा, उन्हें स्वस्थ आहार और नियमित व्यायाम भी करने की राय दी जाती है।
करेले में कई ऐसे गुण होते हैं जो डायबिटीज के रोगियों के लिए लाभ वाला हो सकते हैं। करेले में उपस्थित मोटिलिन नामक एक तत्व इंसुलिन के उत्पादन को बढ़ाने में सहायता कर सकता है। इसके अलावा, करेले में उपस्थित ग्लूकोसाइड्स रक्त में शर्करा के अवशोषण को धीमा करने में सहायता कर सकते हैं।
करेला खाना के फायदे
करेले में अन्य पोषक तत्व भी होते हैं जो स्वास्थ्य के लिए लाभ वाला हो सकते हैं। उदाहरण के लिए, करेले में उपस्थित विटामिन सी इम्यूनिटी को बढ़ाने में सहायता कर सकता है।। जिंक शरीर के लिए जरूरी एक खनिज है जो प्रतिरक्षा प्रणाली, कोलेजन उत्पादन और हार्मोन उत्पादन को नियंत्रित करने में सहायता करता है। फाइबर पाचन स्वास्थ्य को बेहतर बनाने और वजन घटाने में सहायता कर सकता है। प्रोटीन मांसपेशियों के निर्माण और मरम्मत के लिए जरूरी है। विटामिन ए आंखों और त्वचा के स्वास्थ्य के लिए जरूरी है।
डायबिटीज में कैसे करें करेले का सेवन
करेले का जूस बनाने के लिए, सबसे पहले करेले को अच्छी तरह से धोएं। फिर, इसे बीच से चीरा लगाकर बीच का भाग निकाल लें। ध्यान रखें कि करेले का छिलका भी खाया जा सकता है, इसलिए इसे न हटाएं। फिर, बीच निकाले हुए करेले को जूसर मशीन में डालकर उसका जूस निकाल लें। इसमें नींबू का रस, थोड़ा सा सेंधा नमक, और पानी डालकर दोबारा से ग्राइंड करें। जब करेले का जूस बन जाए, तो उसे छन्नी से छान लें। ध्यान रखें कि जूस में करेले के दाने न हों। आप इसमें थोड़ा सा नींबू का रस और काला नमक भी मिला सकते हैं।