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1 फरवरी को अंतरिम बजट पेश करेंगी वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण

भारत का अगला बजट कुछ ही दिनों में आने वाला है. केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण 1 फरवरी को अपना छठा बजट पेश करेंगी. हालांकि, वह पूर्ण बजट के बजाय अंतरिम बजट होगा क्योंकि कुछ ही महीनों में लोकसभा चुनाव होने हैं. अंतरिम बजट एक अल्पकालिक वित्तीय योजना है जो चुनाव के बाद नयी गवर्नमेंट के कार्यभार संभालने तक सरकारी खर्चों को कवर करती है. चुनावी सालों के दौरान सत्ता बदलाव के कारण नियमित बजट प्रक्रिया बाधित हो सकती है. यह गारंटी देने के लिए कि अगले गवर्नमेंट के गठन तक सरकारी संचालन और प्रमुख सेवाएं सुचारू रूप से चलती रहें, प्रस्थान करने वाली गवर्नमेंट एक अंतरिम बजट तैयार करती है.

वर्तमान गवर्नमेंट की पैसा खर्च करने की क्षमता केंद्रीय बजट की वैधता 31 मार्च तक सीमित है. वर्तमान गवर्नमेंट को 1 अप्रैल और नयी गवर्नमेंट की स्थापना के बीच किए गए किसी भी खर्च के लिए शुल्क को कवर करने के लिए संसद से स्वीकृति की जरूरत है. संविधान के अनुच्छेद 116 द्वारा परिभाषित लेखानुदान, “भारत की समेकित निधि” से गवर्नमेंट को अग्रिम भुगतान का अगुवाई करता है, जिसे विशेष रूप से तुरन्त व्यय आवश्यकताओं को पूरा करने के लिए अलग रखा जाता है. केंद्र गवर्नमेंट द्वारा एकत्र किया गया सारा पैसा – कर, कर्ज ब्याज और अन्य राजस्व – हिंदुस्तान के समेकित कोष में रखा जाता है.

आखिरी अंतरिम बजट 2019 में अरुण जेटली के बीमार पड़ने के बाद वित्त मंत्रालय का अतिरिक्त प्रभार संभाल रहे पीयूष गोयल ने पेश किया था. बीजेपी गवर्नमेंट द्वारा लगातार दूसरा कार्यकाल हासिल करने के बाद, सीतारमण को वित्त मंत्री के रूप में नियुक्त किया गया और उन्होंने 5 जुलाई 2019 को पूर्ण बजट पेश किया. 1 फरवरी को वह संसद में 2024-25 के लिए अंतरिम बजट पेश करेंगी, जो 1 अप्रैल 2024 से कारगर होगा. अंतरिम बजट के तहत, आम तौर पर चल रहे कार्यक्रमों, तुरन्त जरूरतों और जरूरी सरकारी गतिविधियों के लिए धन आवंटित किया जाता है. ऐसी कोई नयी नीतियां या कार्यक्रम पेश नहीं किए जाते हैं जिनका बड़ा वित्तीय असर हो.

अंतरिम और केंद्रीय बजट के बीच अंतर

अंतरिम बजट नयी गवर्नमेंट बनने तक गवर्नमेंट के अनुमानित राजस्व और खर्चों की रूपरेखा तैयार करेगा. दूसरी ओर, एक व्यापक बजट, राजस्व, व्यय, आवंटन और नीति विवरण सहित सरकारी वित्त के हर पहलू को कवर करता है. केंद्रीय बजट, जो कई पहलों और परिवर्तनों के प्रति गवर्नमेंट की प्रतिबद्धता को खुलासा करता है, अक्सर निवेशकों के मूड को प्रभावित करता है. इसमें बाजार की अपेक्षाओं और आर्थिक गतिविधियों को प्रभावित करने की शक्ति है. एक पूर्ण-वर्ष का बजट, जो पूरे वित्तीय साल के लिए राष्ट्र के आर्थिक पाठ्यक्रम को दर्शाता है, एक रणनीतिक उपकरण है, जबकि अंतरिम बजट अस्थायी अवधि के लिए वित्तीय जानकारी प्रदान करता है.

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