दारा सिंह पर स्याही फेंकने वाले अभिमन्यु यादव की कहानी: 5 साल से सपा में, पड़ोसी बोले…
पहली फुटेज अभिमन्यु की नानी की है, जबकि दूसरी में वह पुलिस स्टेशन में सरेंडर करने जा रहा था। तीसरी फुटेज द्वारा सिंह पर स्याही फेंकने के दौरान की है।
चेहरे पर फुल कॉन्फिडेंस, चाल में तेजी और लगातार अपने कारनामे पर सफाई देने वाला ये पुरुष अभिमन्यु यादव है…। ये वही अभिमन्यु है, जो रविवार को बीजेपी नेता दारा सिंह चौहान पर स्याही फेंकने के बाद भाग गया था। फिर सोमवार को स्वयं पुलिस स्टेशन पहुंचा…सरेंडर करने। उसका बोलना है, बीजेपी नेता प्रिंस यादव के कहने पर यह सब किया था।
आज इस समाचार में हम आपको स्याही फेंकने वाले इसी अभिमन्यु यादव के बारे में सब कुछ बताएंगे। उसके घर के हालात, पढ़ाई और लोगों की उसको लेकर क्या सोच है, इसकी जानकारी देंगे।
दरअसल, इस घटना के बाद दैनिक मीडिया की टीम अभिमन्यु के गांव अदरी मोड़ पहुंची। वहां हमें अभिमन्यु की दादी और उसका एक पड़ोसी मिला। उन्होंने हमें अभिमन्यु के बारे में बहुत कुछ बताया, लेकिन पहले एक नजर स्याही काण्ड पर।
स्वागत कार्यक्रम के दौरान दारा सिंह चौहान पर स्याही फेंकी गई थी।
मऊ में रविवार को घोसी उपचुनाव में भाजपा कैंडिडेट दारा सिंह चौहान पर स्याही फेंकी गई। वह प्रचार करने थाना सराय लखांशी क्षेत्र के अदरी गांव पहुंचे थे। कार से उतरने पर कार्यकर्ता उनका स्वागत कर रहे थे, तभी उन पर एक पुरुष ने स्याही फेंक दी। सुरक्षाकर्मियों की मौजूदगी में पुरुष स्याही फेंककर फरार हो गया था।
स्याही फेंकने वाला पुरुष सोमवार को स्वयं ही सुबह 8.45 बजे पैदल चलता हुआ कोपागंज पुलिस स्टेशन पहुंचा। कुछ कैमरामैन भी उसके साथ थे। उसने पुलिस स्टेशन में सरेंडर करने से पहले कहा, “ये सब भाजपा नेता की चाल है। भाजपा नेता प्रिंस यादव ने कहा कि तुम फेंक दो, हम लोगों का चुनाव फंस रहा है। इसी वजह से मैंने स्याही फेंक दी। उन लोगों ने बोला था कि तुमको बचा लेंगे। स्याही फेंकने के मुद्दे में मैं अकेले ही था।”
इस मुद्दे में सपा-भाजपा आमने-सामने आ गए
थाने पहुंचने पर पुलिस ने आरोपी अभिमन्यु यादव को अरैस्ट कर लिया। पुलिस उससे पूछताछ कर रही है। वहीं, इस पूरे मुद्दे ने फिर से पार्टियों को एक-दूसरे पर इल्जाम लगाने का मौका दे दिया। पार्टियों में ट्वीट वार प्रारम्भ हो गया।
सपा-भाजपा नेता आमने-सामने आ गए। समाजवादी पार्टी प्रमुख अखिलेश यादव ने स्वयं मुद्दे को लेकर ट्वीट किए। वहीं, दारा सिंह चौहान ने आरोपी के बीजेपी नेता प्रिंस यादव का नाम लेने पर उनका बचाव किया।
अब हम आपको ले चलते हैं अभिमन्यु यादव के गांव अदरी
ये अभिमन्यु का गांव है। गांव की सड़कें कच्ची हैं। मकान भी आधे बने हुए हैं।
शहर से करीब 15 किलोमीटर दूर अभिमन्यु का गांव पड़ता है। गांव की सड़कें कहीं कच्ची, तो कहीं पक्की बनी हुई हैं। अधिकांश घर कच्चे ही बने हुए हैं। वहीं कुछ लोगों ने अपने घर के आगे का हिस्सा पक्का बनवा रखा है। गांव में शांति का माहौल है और लगभग हर घर के आगे जानवर बंधे हैं।
घर का पता पूछते हुए और कीचड़ से बचते हुए हम लोग बाइक से अभिमन्यु के घर के लिए चल दिए। घर के पास पहुंचे, तो एक बुजुर्ग स्त्री जानवरों को चारा लगाती हुई दिखी। उनसे बात की, तो उन्होंने कहा वो अभिमन्यु की दादी लीलावती हैं।
हमने उनसे पूछा, क्या घर में कोई और है? जिस पर वो नाराज हो गई। गुस्से में कहने लगी, जो बात करनी है हमसे करो। घर की औरतें बाहर नहीं आएंगी। वैसे भी सब लोग सुबह से बहुत परेशान हैं, अब और न करो। ऊपर से घर में कोई मर्द भी नहीं है। बिना आदमी के मेरे घर की औरतें बाहर नहीं निकलती।
ये अभिमन्यु की दादी हैं, जो उससे काफी परेशान और दुखी हैं।
“पुलिस रात 3 बजे आकर खूब तेज-तेज दरवाजा खटखटाने लगी”
इसके बाद हम लोग घर के बाहर ही खड़े होकर दादी से बात करने लगे। हमने दादी से जैसे ही अभिमन्यु का नाम लिया, वह रुआसी हो गई। उन्होंने कहा, वो तो पता नहीं कहां भाग गया? उसकी वजह से पुलिस हमारे घर पर आ गई। रात में हम लोग सो रहे थे। रात 3 बजे आकर खूब तेज-तेज दरवाजा खटखटाने लगी। हमारे लड़के ने दरवाजा खोला, तो उसको धक्का देकर घर के अंदर घुस आई। हमारे घर का दरवाजा भी तोड़ दिया।
“पुलिस वालों ने कमरे से लेकर छत तक सब छान मारे”
घर में सब कुछ तहस-नहस कर दिया। 20-25 लोग आए थे, बिना किसी से पूछे घर के अंदर घुस गए। पूरा घर खंगाल डाला। घर की औरतें बहुत परेशान हुईं। उन लोगों ने घर के सारे टेलीफोन भी ले लिए। हमसे पूछ रहे थे अभिमन्यु कहां है? कहां छुपाया है उसको? हम लोग उनको इंकार करते रहे, लेकिन वो हमारी एक नहीं सुन रहे थे।
अभिमन्यु के घर पर खेती-किसानी के अतिरिक्त पशु पालने का काम भी होता है।
कमरे से लेकर छत तक सब छान मारा। उसके बाद अभिमन्यु के भाई और पापा को साथ ले गए। हम लोगों ने रोका, तो धक्का देकर गिरा दिया। हम लोग तो अधिक कुछ जानते भी नहीं हैं, उसके बाद भी हमें परेशान किया गया। डर के कारण घर के सारे मर्द भाग गए हैं। अब देखो क्या होता है?
उन्होंने बताया, अभिमन्यु बचपन से ही नेताओं वाले काम करने लगा। हम लोगों को तो ये सब अधिक पसंद नहीं था लेकिन वो तो चुनाव के समय कई-कई दिन गायब रहता था। घर ही नहीं आता था। उसको बड़ा शौक था, बड़े-बड़े नेताओं के साथ फोटो खिंचवाना। उसके टेलीफोन में भी खूब फोटो हैं। यहां गांव में सबको दिखाता था। आज उन्हीं सब की वजह से ये सब हो रहा है।
पड़ोसी बोला-लेकिन परिवार को परेशान नहीं करना चाहिए था
अभिमन्यु की दादी से बात करने के बाद हम घर के बाहर बैठे थे, तभी हमें उसका पड़ोसी उदय नारायण यादव दिखाई दिया। हम उनसे बात करने के लिए उनके पास गए। उन्होंने बताया, लड़कों के चढ़ाने पर अभिमन्यु ने ऐसा काम किया है।
उसी को ढूंढने पुलिस आई थी, लेकिन परिवार को ऐसे परेशान नहीं करना चाहिए था। पुलिस ने तो इनके घर की पीछे वाली कुंडी भी तोड़ दी। इनका अब पूरा घर पीछे से खुल गया है। घर में महिलाएं थीं, फिर भी कोई स्त्री पुलिस साथ में नहीं आई थी। ये लोग घरवालों को डरा रहे थे। कह रहे थे, कहां छुपा रखा है उसको…जल्दी बाहर भेजो।
ये अभिमन्यू का घर है। उसका पूरा घर पक्का बना हुआ है। आगे के हिस्से में पशुओं को बांधा गया है।
अभिमन्यु ने कम उम्र में ही चुनाव लड़ लिया था
उदय ने हमें बताया, पढ़ाई में अभिमन्यु की खास रुचि नहीं रही। कम उम्र में ही वह चुनाव लड़ लिया था। लगभग 5 वर्ष से समाजवादी पार्टी से जुड़ा था। ज्यादातर नेताओं के साथ ही रहता है। अभिमन्यु समाजवादी विचारधारा का है। पिछले चुनाव में इतना मेहनत करके इन सभी ने दारा सिंह चौहान को जिताया और अब वो पल्टी मार गए तो इनको बहुत बुरा लगा। तभी अभिमन्यु ने ये काम किया है। बता दें, अभिमन्यु के पापा चार भाई हैं। जबकि अभिमन्यु के तीन भाई हैं। घर पर सब खेती-किसानी का काम करते हैं। परिवार की आर्थिक स्थिति भी सामान्य है।
अब पढ़िए इस मुद्दे पर दारा सिंह चौहान ने क्या बोला था?
स्याही काण्ड को दारा सिंह ने कहा था विपक्ष की बौखलाहट।
स्याही फेंके जाने के बाद दारा सिंह चौहान ने दैनिक मीडिया से वार्ता में बोला था, यह विपक्ष की बौखलाहट है। सपा को यह स्पष्ट रूप से पता है कि वह भारी मतों से यह चुनाव हार रहे हैं। इसी बौखलाहट में सपा के गुंडे स्याही फेंकने का काम कर रहे हैं। उन्होंने आगे कहा, इस चुनाव में उनकी भारी मतों से जीत होने जा रही है। इसी को लेकर सपा बौखलाई हुई है।
भाजपा नेता प्रिंस यादव पर इल्जाम लगाने पर उन्होंने कहा, आरोपी असत्य बोल रहा है। इसकी फोटो स्वयं अखिलेश यादव के साथ है। समाजवादी पार्टी ने इसको भेजा है। मैं स्पष्ट रूप से कह रहा हूं कि यह समाजवादी पार्टी की बौखलाहट है। उनका जनाधार समाप्त हो गया। इसलिए अब यह मनगढ़ंत इल्जाम लगवा रही है।
ये बीजेपी नेता प्रिंस यादव हैं। जिन्होंने मुद्दे में अपनी सफाई दी है।
भाजपा नेता प्रिंस यादव ने कहा, ”यह घटना बहुत ही निंदनीय है। आपको बता दूं कि मैं दो दिन से कुशीनगर में था। वहां पर हमारे जिला पंचायत सदस्य बीजेपी का वर्ग चल रहा था। जहां पर सदस्यों का प्रशिक्षण हो रहा था। तो मैं वहीं था। कल रात में मैं मऊ वापस आया था। तभी मैंने इस घटना का वीडियो देखा था।”
मऊ में बीजेपी नेता दारा सिंह चौहान पर स्याही फेंकने वाले पुरुष ने नाटकीय अंदाज में सरेंडर किया। आरोपी ने अपना नाम अभिमन्यु यादव कहा है। सोमवार सुबह 8.45 बजे आरोपी पैदल चलता हुआ कोपागंज पुलिस स्टेशन पहुंचा। कुछ कैमरामैन भी उसके साथ थे।
वहां पुलिस स्टेशन में सरेंडर से पहले कहा, “ये सब भाजपा नेता की चाल है। भाजपा नेता प्रिंस यादव है। उसने कहा कि तुम फेंक दो, हम लोगों का चुनाव फंस रहा है। इसी वजह से मैंने स्याही फेंक दी। उन लोगों ने बोला था कि तुमको बचा लेंगे। स्याही फेंकने के प्रकरण में मैं अकेले ही था।”