उत्तर प्रदेश

Gorakhpur Pollution: अस्पतालों की ओपीडी में गले में संक्रमण के मरीजों की संख्या अचानक बढ़ी

मौसम सर्द होते ही इन दिनों प्रदूषण भी बढ़ता जा रहा है इससे लोग कई तरह की रोंगों की चपेट में भी आ रहे हैं प्रदूषित वायुमंडल जहां अस्थमा मरीजों के लिए खतरे की घंटी है, वहीं इससे गले में संक्रमण के मुद्दे भी तेजी से बढ़ रहे हैं ऐसे में डॉक्टरों ने मौसम में इस परिवर्तन के मद्देनजर विशेष सतर्कता बरतने की राय दी है

सरकारी और निजी अस्पतालों की ओपीडी में गले में संक्रमण के रोगियों की संख्या अचानक बढ़ गई है डॉक्टरों का बोलना है कि गर्मी-सर्दी के संक्रमण काल में इस तरह की दिक्कतें आती हैं प्रदूषण के चलते संक्रमण का असर बढ़ जा रहा है ऐसे में मौसम के इस परिवर्तन में स्वयं को सुरक्षित रखना महत्वपूर्ण है

इस वर्ष अक्तूबर के आखिरी दिनों में भी तेज गर्मी थी इसके बाद नवंबर प्रारम्भ होते ही अचानक तापमान में कमी आई, जिसके कारण लोगों को गले का संक्रमण झेलना पड़ रहा है एक वर्ष से कम उम्र के बच्चों में निमोनिया के मुद्दे बढ़ गए हैं फिजिशियन डाक्टर बीके सुमन बताते हैं कि जब भी दो मौसम का संधिकाल होता है तो इस तरह की दिक्क्तें आती हैं, क्योंकि ऐसे में अनेक तरह के वायरस एक्टिव हो जाते हैं

नाक, कान और गला बीमारी जानकार डॉअर्पित श्रीवास्तव का बोलना है कि मौसम में परिवर्तन के दौरान ये दिक्क्तें आती हैं सर्दी की आरंभ में लोग सावधानी नहीं बरतते, जिससे इस तरह की परेशानी आती है कुछ लोगों को एलर्जी की वजह से भी ऐसा हो रहा है ओपीडी में आ रहे अधिकतर रोगी एलर्जी की वजह से परेशान हैं

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