उत्तर प्रदेश

पीलीभीत के जंगल में भालू के पीछे भागा बाघ, रोमांचित कर देगा VIDEO

पीलीभीत के जंगल में सैलानियों के सामने बाघ भालू पर दौड़ पड़ा. यही नहीं बाघ के आक्रामक तेवर देख कर भालू उल्टे पांव दौड़ता दिखाई दिया. सकते में आ गए सैलानियों की भी घिघ्गी बंध गई हांलाकि उस दौरान बाघ को देखने का रोमांच भी चरम पर रहा. पूरे घटनाक्रम का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है. पीलीभीत टाइगर रिजर्व में वनजीवन देखने आने वाले सैलानियों को कभी-कभी जीवंत पर्यटन दिखता है. ऐसा ही नजारा पिछले दिनों कुछ सैलानियों के सामने आया. यहां कुछ सैलानी शाम के समय इवनिंग सफारी पर थे, तभी महोफ रेंज के भीतर बाघ की दहाड़ से सभी की जिज्ञासा दौड़ पड़ी.

देखा तो आगे-आगे भालू और पीछे-पीछे बाघ दौड़ता दिखाई दिया. इस दौरान बाघ के आक्रामक अंदाज से पर्यटक भी सिहर उठे और इसी दौरान किसी ने वीडियो बना कर इसे वायरल कर दिया. इसकी जानकारी जब पीटीआर प्रशासन को हुई तो महोफ रेंज में सतर्कता बढ़ा कर मानीटरिंग कराई गई, हालांकि यह वीडियो कब का है और इसकी आधिकारिक जानकारी नहीं हो सकी. पर वन जीवन से जुड़ा एक नए तरह का वीडियो सामने आने के बाद लोगों में उत्साह है

ग्रास लैंड का दायरा कम होने से बाहर निकल रहे बाघ

पीलीभीत टाइगर रिजर्व के जंगलों की खुली सीमा लोगों के लिए दुखदायी साबित हो रही है. पीटीआर का दर्जा मिलने के बाद से हर वर्ष मानव-वन्यजीव संघर्ष की घटनाएं हो रही हैं. अधिकतर घटनाए कलीनगर क्षेत्र में होती हैं. क्योंकि कई गांव जंगल से कुछ दूरी पर बसे हैं. इन गांव की जनसंख्या में अक्सर बाघ की चहल कदमी देखी जाती है. बतादें कि कलीनगर तहसील क्षेत्र में 28 जून 2023 से 20 मार्च 2024 तक करीब आठ लोगों का बाघ ने शिकार किया. पिछले कई दिनों से न्यूरिया क्षेत्र में भी बाघ की मौजूदगी रही. एक दिन पहले सेमपुर के दिलीप का क्षत विक्षत मृतशरीर मिला. पोस्टमार्टम रिपोर्ट में किसी जानवर के हमले से मृत्यु होने की पुष्टि हुई. हालांकि गुरुवार को वन विभाग की टीम ने कड़ी मशक्कत के बाद शिवपुरिया में रेस्क्यू अभियान चलाकर बाघ को कैद कर लिया. चर्चा है कि बाघ के जनसंख्या की ओर रूख कर लेने के पीछे अहम कारण जंगल में भोजन और वास स्थल से छेड़खानी होना है.

पीटीआर में जंगल सफारी का समय बदला

पीलीभीत टाइगर रिजर्व के पर्यटन स्थल पर एक अप्रैल से जंगल की सफारी का समय बदल गया है. महोफ रेंज के वन क्षेत्राधिकारी सहेंद्र यादव ने कहा कि उच्च अफसरों के निर्देश पर सुबह की सफारी का समय छह से नौ बजे तक और दूसरी शिफ्ट की सफारी का समय दोपहर तीन बजे से शाम साढ़े छह बजे तक निर्धारित किया गया है. इस संबंध में सभी टूरिसट गाइडों, जिप्पी चालकों और पर्यटन प्रभारी को निर्देश दिए गए हैं.

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