Rajasthan : शिक्षक दिवस पर एक प्रतिशत आरक्षण के लिए की गई पीएम मोदी की अपील
कायस्थ समाज का भारतीय शिक्षा प्रणाली में ऐतिहासिक और जरूरी सहयोग रहा है. सदियों से इस समाज ने शिक्षा को अपनी अहमियत में रखा है और इसके माध्यम से देश की सेवा की है. लेकिन आरक्षण नीति के लागू होने के बाद, शित होने के बावजूद कायस्थ समाज को जॉब और रोजगार के अवसरों में कमी का सामना करना पड़ा है. संघ का मानना है कि शिक्षा संस्थानों में एक फीसदी आरक्षण से कायस्थ समाज के लोगों को रोजगार के नए अवसर प्राप्त होंगे और भारतीय शिक्षा प्रणाली को भी एक नयी दिशा मिलेगी.
कायस्थ कल्याण बोर्ड की मांग
संघ ने अपने पत्र में “कायस्थ कल्याण बोर्ड” के गठन की भी मांग की है. संघ का मानना है कि इस बोर्ड से कायस्थ समाज को प्रशिक्षण, तकनीकी शिक्षा, और कौशल विकास के क्षेत्रों में विशेष सहायता मिलेगी. बोर्ड का गठन समाज की सामाजिक और आर्थिक स्थिति में सुधार लाने के साथ-साथ विभिन्न जरूरी क्षेत्रों में कार्यक्षमता और दक्षता को भी बढ़ाएगा.
अभियान के संयोजक और उनका राष्ट्रीय कार्य
इस अभियान के राष्ट्रीय संयोजक वेद आशीष श्रीवास्तव (भोपाल, मध्यप्रदेश), ललित सक्सेना (जयपुर, राजस्थान), और अमित सक्सेना (जयपुर) नियुक्त किए गए हैं. ये संयोजक विभिन्न जिलों और ब्लॉकों में अभियान को गति देने के लिए कार्यरत हैं और समाज के सदस्यों और आम नागरिकों से इस मामले के समर्थन में शामिल होने का आह्वान कर रहे हैं.
समाज और देश के विकास की दिशा
संघ का मानना है कि “कायस्थ कल्याण बोर्ड” का गठन न सिर्फ़ कायस्थ समाज के उत्थान का माध्यम होगा, बल्कि यह भारतीय समाज और देश के समग्र विकास में भी एक जरूरी सहयोग देगा. कायस्थ समाज की पेशेवर क्षमताएँ और उसकी धरोहर में मिली विशेषज्ञता को पहचानते हुए, इस बोर्ड के माध्यम से समाज की विकासशील भूमिकाओं को सशक्त बनाया जा सकेगा, जिससे एक समृद्ध और सक्षम हिंदुस्तान का निर्माण होगा.
उपसंहार
इस विशेष मांग के साथ कायस्थ समाज अपने अधिकार और विकास की दिशा में जरूरी कदम उठा रहा है. पीएम से इस अपील पर सकारात्मक प्रतिक्रिया की आशा की जा रही है, जिससे कायस्थ समाज को न्यायपूर्ण अगुवाई मिल सके और भारतीय शिक्षा प्रणाली को भी मजबूती प्रदान की जा सके.