आप नेता आतिशी ने केंद्रीय एजेंसी पर गंभीर आरोप लगाए, कहा…
Delhi Liquor Scam: प्रवर्तन निदेशालय और आम आदमी पार्टी के बीच नया टकराव प्रारम्भ हो गया है। आप नेता आतिशी ने केंद्रीय एजेंसी पर गंभीर इल्जाम लगाए हैं। उन्होंने बोला है कि दिल्ली आबकारी नीति से जुड़े मनी लॉड्रींग के मुद्दे में प्रवर्तन निदेशालय ने एक आरोपी के बयान से ऑडियो रिकॉर्डिंग डिलीट कर दी थी। आतिशी के इल्जाम लगाने के बाद प्रवर्तन निदेशालय के सूत्रों ने बोला कि आप नेता की बातों में कोई सच्चाई नहीं है।
ईडी ने किया आतिशी के आरोपों का खंडन
ईडी सूत्रों ने बोला कि वे ऐसे इल्जाम लगाने के लिए दिल्ली की मंत्री एवं आम आदमी पार्टी (आप) नेता आतिशी के विरुद्ध कानूनी सहारा लेंगे। सूत्रों ने बोला कि पूछताछ के दौरान फुटेज सिर्फ़ वीडियो प्रारूप में रिकॉर्ड किया गया था क्योंकि उस समय सीसीटीवी प्रणाली में ‘ऑडियो’ रिकॉर्डिंग की सुविधा नहीं थी। सूत्रों ने कहा कि प्रवर्तन निदेशालय पूछताछ प्रक्रिया के वीडियो कैप्चरिंग सिस्टम में ऑडियो रिकॉर्डिंग पिछले वर्ष अक्टूबर में ही जोड़ी गई थी।
आतिशी ने लगाए गंभीर आरोप
आतिशी (42) ने एक संवाददाता सम्मेलन में दावा किया कि प्रवर्तन निदेशालय ने एक आरोपी से पूछताछ के दौरान बनाई गई वीडियो फुटेज की ‘ऑडियो रिकॉर्डिंग’ को “डिलीट” कर दिया है। उन्होंने इल्जाम लगाया, ‘‘कुछ दिन पहले, एक आरोपी ने पूछताछ के सीसीटीवी फुटेज का निवेदन करते हुए न्यायालय में एक आवेदन दाखिल किया था। प्रवर्तन निदेशालय ने उसका सामना एक सरकारी गवाह से कराया था और यह ऐसे कमरे में हुआ था जहां एक सीसीटीवी कैमरा था। उसने एक याचिका दाखिल की थी क्योंकि प्रवर्तन निदेशालय द्वारा न्यायालय में प्रस्तुत किया गया बयान उस कमरे में जो हुआ उससे अलग था।’’
डेढ़ वर्ष की पूछताछ की ऑडियो रिकॉर्डिंग डिलीट
मंत्री ने दावा किया कि प्रवर्तन निदेशालय ने जो फुटेज न्यायालय में जमा किया है, उसमें ‘ऑडियो’ नहीं है। उन्होंने इल्जाम लगाया और जांच को रिकॉर्डिंग न्यायालय में पेश करने की चुनौती देते हुए कहा, ‘‘ईडी ने पूछताछ के वीडियो फुटेज की ऑडियो रिकॉर्डिंग मिटा दी थी। हमें विश्वसनीय स्रोतों से पता चला है कि प्रवर्तन निदेशालय ने मुद्दे में डेढ़ वर्ष की पूछताछ की ऑडियो रिकॉर्डिंग ‘डिलीट’ (मिटा) कर दी है।’’ उन्होंने कहा, ‘‘हमने न्यायालय में यह भी निवेदन किया है कि प्रवर्तन निदेशालय पूछताछ की वीडियो और ऑडियो रिकॉर्डिंग पेश करे।’’
ईडी ने कहा- इल्जाम झूठे
ईडी के सूत्रों ने बोला कि मंत्री द्वारा लगाए गए इल्जाम “झूठे, निराधार और दुर्भावनापूर्ण” हैं और उनके इल्जाम के विरुद्ध मुनासिब “कानूनी सहारा” लिया जाएगा। उन्होंने बोला कि धनशोधन रोकथाम अधिनियम (पीएमएलए) के अनुसार की गई पूछताछ के दौरान बयान चालू सीसीटीवी कवरेज के अनुसार दर्ज किए गए थे और वह आरोपियों को उनके निवेदन के मुताबिक प्रदान किया गया था और (आबकारी नीति मुद्दे में) निचली न्यायालय में भी दिये गये थे।
सीसीटीवी फुटेज सिर्फ़ वीडियो प्रारूप में
उन्होंने दावा किया कि सीसीटीवी फुटेज सिर्फ़ वीडियो प्रारूप में रिकॉर्ड किया गया था क्योंकि तत्कालीन मौजूद सीसीटीवी सिस्टम में ऑडियो रिकॉर्ड करने की सुविधा नहीं थी। एजेंसी के ऑफिसरों ने बोला कि प्रवर्तन निदेशालय ऑफिसरों द्वारा कोई ऑडियो रिकॉर्डिंग डिलीट नहीं की गई और एजेंसी में सीसीटीवी सिस्टम को अक्टूबर 2023 में वीडियो के साथ-साथ ऑडियो रिकॉर्ड करने और संग्रहित करने के लिए अद्यतन किया गया था।
क्या कहती है उच्चतम न्यायालय की गाइडलाइन
उन्होंने बोला कि सुप्रीम कोर्ट के दिशानिर्देशों में बयानों की ऑडियो और वीडियो रिकॉर्डिंग 180 दिनों तक रखने की शर्त थी और प्रवर्तन निदेशालय ने शीर्ष न्यायालय के आदेश का अनुपालन सुनिश्चित करने के लिए अपने सिस्टम को पिछले वर्ष के अंत में अद्यतन किया है। उन्होंने बोला कि मुद्दे में शामिल आरोपी ने न्यायालय के समक्ष वही बयान दिया है जो उसने पीएमएलए के अनुसार प्रवर्तन निदेशालय के समक्ष दर्ज कराया था।