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अनिल विज : मुझे मेरी ही पार्टी में बेगाना बना दिया है, लेकिन…

हरियाणा में बीजेपी के कद्दावर नेता अनिल विज का दर्द उभर आया है. पिछले दिनों पार्टी ने अचानक ही परिवर्तन करते हुए नायब सिंह सैनी को राज्य का मुख्यमंत्री बना दिया था. मनोहर लाल खट्टर की स्थान सैनी को कमान मिली तो अनिल विज नाराज नजर आए थे. यही नहीं विधायक दल की मीटिंग छोड़ गए थे और यहां तक कि शपथ ग्रहण कार्यक्रम में भी नहीं पहुंचे. बोला गया कि उनका मंत्री पद के लिए नाम था, लेकिन जब वह शपथ में नहीं पहुंचे तो लिस्ट से हटा दिया गया. अभी वह महज एक विधायक हैं. दशकों से राजनीति कर रहे अनिल विज का अपनी इस स्थिति को लेकर दर्द भी उभर आया है.

अनिल विज ने गुरुवार को एक रैली को संबोधित करते हुए अपना दर्द जाहिर किया. उन्होंने माना कि पार्टी में उन्हें किनारे लगा दिया गया है. अनिल विज ने कहा, ‘माना कि कुछ लोगों ने मुझे मेरी ही पार्टी में बेगाना बना दिया है, लेकिन कई बार बेगाने अपनों से भी अधिक काम करते हैं. हम यह करके दिखाएंगे. अनिल विज ने बोला कि आप लोगों में से हाथ खड़े करके बताइए कि मैंने अंबाला छावनी के लिए काम किया है या नहीं.‘ इस तरह अनिल विज ने चुनावी सीजन में भी साफ कर दिया कि वह अब तक मुख्यमंत्री पद की रेस से बाहर होने का मलाल दूर नहीं कर पाए हैं.

सीनियर नेता ने यह भी बोला कि हम बेगाने बनाए जाने के बाद भी काम करेंगे. अनिल विज ने कहा,’हम अपनों से अधिक काम करके दिखाएंगे. यदि आप मानते हो कि मैंने अंबाला छावनी के लिए कुछ काम किया है तो अब काम करने की बारी आपकी है. आप लोग टोलियां बनाएं और घर-घर जाएं. आप लोगों को बताएं कि मैंने, मनोहर लाल जी ने और पीएम नरेंद्र मोदी ने क्या काम किए हैं. आप लोगों को बताएं कि 60 वर्षों में क्या कांग्रेस पार्टी ने क्या किया था और हमने अपने 10 वर्षों के शासन में क्या किया है.

बता दें कि अनिल विज ने पिछले दिनों रामविलास शर्मा और ओमप्रकाश धनखड़ से मुलाकात की थी. सोमवार को विज ने मुलाकात के बाद एक तस्वीर शेयर करते हुए कैप्शन में लिखा था, ‘ये दोस्ती हम नहीं तोड़ेंगे.‘ इसके भी अनेक अर्थ निकाले जा रहे हैं. इसकी वजह यह है कि रामविलास शर्मा, धनखड़ और अनिल विज तीनों ही इन दिनों पार्टी की मुख्यधारा की राजनीति से बाहर हैं. ऐसे में तीनों नेताओं की मुलाकात के चर्चे स्वाभाविक हैं.

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