बीपीएससी में 6000 से अधिक हेडमास्टर की निकली भर्ती, जानें कितनी मांगी गई शैक्षणिक योग्यता
बिहार के माध्यमिक और उच्च माध्यमिक विद्यालयों में 6060 प्रधानाध्यापकों की भर्ती होगी। शिक्षा विभाग ने इसकी अधियाचना सामान्य प्रशासन विभाग को मंगलवार को भेज दी। जल्द ही सामान्य प्रशासन विभाग द्वारा बिहार लोक सेवा आयोग को अधियाचना भेजे जाने की आशा है। इसके बाद आयोग अभ्यर्थियों से आवेदन मांगेगा। 2022 में बीपीएससी के माध्यम से 6421 प्रधानाध्यापकों की नियुक्ति का विज्ञापन जारी हुआ था, जिनमें 421 ही चयनित हुए थे। इनमें 369 ने ही सहयोग दिया था। दरअसल, परीक्षा के लिए भिन्न-भिन्न वर्गों के लिए अंकों का निर्धारण किया गया था। इस अंक को पास नहीं करने वाले 12 हजार 547 उम्मीदवार शिक्षकों अनुत्तीर्ण घोषित कर दिए गए थे। अब शेष पदों के लिए फिर अधियाचना भेजी गई है।
प्रधानाध्यापक बनने को आठ से 12 वर्ष तक का अनुभव जरूरी
प्रदेश के माध्यमिक और उच्च माध्यमिक विद्यालयों में 6060 प्रधानाध्यापकों की बहाली होगी। शिक्षा विभाग ने साफ किया है कि राज्य गवर्नमेंट की पंचायती राज संस्था और नगर निकाय के अनुसार माध्यमिक शिक्षक के पद पर कम से कम आठ वर्ष और उच्च माध्यमिक शिक्षक के पद पर न्यूनतम चार वर्ष की लगातार सेवा जरूरी होगी। वहीं, निजी विद्यालयों में पढ़ाने वालों के लिए माध्यमिक में 12 वर्ष तथा उच्च माध्यमिक में दस वर्ष के अनुभव को जरूरी किया गया है।
बिहार हेडमास्टर भर्ती में केवल 421 पास, 6000 पद रह गए खाली
पिछली बार क्या मांगी गई थी शैक्षणिक योग्यता
– कम से कम 50 फीसदी अंकों के साथ पीजी उत्तीर्ण होना आवश्यक। एससी-एसटी, ईबीसी, बीसी, दिव्यांग, स्त्री और आर्थिक रूप से कमजोर अभ्यर्थियों को अंक संबंधी शर्त में पांच फीसदी की छूट दी गई है। यानी वह पीजी में 45 फीसदी मार्क्स के साथ आवेदन कर सकते हैं।
– अभ्यर्थी बीएड/ बीएएड/ बीएससी एड पास हो।
– 2012 या उसके बाद शिक्षक पात्रता परीक्षा (टीईटी) पास हो।