बोकारो के वनखेतवा में 32 हाथियों के झुंड ने 18 घरों को तोड़कर उसमे रखा अनाजो को…
बोकारो जिले के नावाडीह प्रखंड भीतर उग्रवाद प्रभावित ऊपरघाट की पोखरिया पंचायत के आदिवासी गांव वनखेतवा में बुधवार की रात 32 हाथियों के झुंड ने 18 घरों को तोड़ दिया और उसमें रखा 100 क्विंटल अनाज और अन्य चीजें जैसे- चावल, मकई, महुआ, गेहूं, मडुवा, आलू, प्याज चटकर गये। हाथियों ने आदिवासियों के धर्मस्थल बूढ़ाथान और एक बाइक को भी तोड़ दिया। बुधवार की रात लगभग डेढ़ बजे हाथियों का झुंड वनखेतवा गांव आ धमका और गांव पर चारों तरफ से धावा कर दिया। गनीमत रही कि ग्रामीण खतरे को भांपते हुए शाम में ही घर छोड़कर डेगागढ़ा स्थित विद्यालय में शरण ले लिये थे, वरना हाथियों के झुंड के हमले में जान-माल का बड़ा हानि हो सकता था। बड़े हाथी घर तोड़ रहे थे।
झुंड में शामिल सात छोटे हाथी घर में घुसकर अनाज बाहर निकाल कर अपने साथियों को खिला रहे थे। ऐसा नहीं है कि हाथियों ने मिट्टी के घरों को ही तोड़ा है, बल्कि ये सीमेंट से बने पक्के घरों की दीवार को भी तोड़ कर अनाज चट कर गये। इस दौरान हाथियों ने घर में बंधे मवेशियों को छेड़ा तक नहीं।
देवस्थल बूढ़ाथान को भी हाथियों ने तोड़ दिया
हाथियों ने वनखेतवा स्थित देवस्थल बूढ़ाथान को भी पूरी तरह कुचल दिया। देवस्थल पूरी तरह टूट गया है, जिससे आदिवासी समाज काफी आहत दिखे। मंत्री बेबी देवी के पुत्र अखिलेश महतो ने क्षतिग्रस्त देवस्थल बूढ़ाथान को भी नये सिरे से बनाने की बात कही।
सूचना पर पहुंचे कई जनप्रतिनिधि
वनखेतवा में हाथियों के कहर ढाहने की सूचना पर मंत्री के पुत्र झामुमो नेता अखिलेश उर्फ राजू महतो, मुखिया बंसती देवी, प्रतिनिधि शनिचर तुरी, पूर्व विधायक प्रतिनिधि टेकलाल चौधरी, अयोध्या प्रसाद महतो, जयलाल महतो, बासदेव महतो, भैरव महतो, कमल प्रसाद महतो, अरुण साव, पिंटू कुमार महतो सहित कई लोग पहुंचे और भुक्तभोगी परिवार को ढाढ़स बंधाया और हर संभव योगदान करने की बात कही।