डीआरडीओ प्रमुख ने तेजस विमान सौदे के लिए सरकार की जमकर की तारीफ

डीआरडीओ प्रमुख जी सतीश रेड्डी ने हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिडेट (एचएएल) के साथ 83 हल्के तेजस लड़ाकू विमान निर्माण का सौदा करने के लिए रक्षा मंत्रालय की तारीफ की। उन्होंने कहा कि भारतीय वायुसेना की तरफ से 83 एलसीए का ऑर्डर अब तक का सबसे बड़ा ऑर्डर है। इससे देश में एयरोनॉटिक्स को बहुत बड़ा बूस्ट मिलेगा।
सरकार के फैसले को ऐतिहासिक बताते हुए उन्होंने कहा कि इससे देश में नए एयरक्राफ्ट बनाने का रास्ता भी साफ होगा। उन्होंने कहा कि एलसीए तेजस मार्क-1ए एयरक्राफ्ट आने वाले समय में मिराज और जगुआर की जगह लेंगे और इसका निर्माण सही दिशा में हो रहा है।
तेजस एलसीए की खरीद का सौदा
सरकार ने 83 तेजस हल्के लड़ाकू विमान खरीदने के लिए सरकारी हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड (एचएएल) के साथ बुधवार को 48,000 करोड़ रुपये के सौदे पर औपचारिक मुहर लगा दी। सरकार की तरफ से इस सौदे को रक्षा क्षेत्र में सबसे बड़ा ‘मेक इन इंडिया’ अनुबंध करार दिया गया।
रक्षा मंत्रालय के खरीद मामलों के महानिदेशक वी एल कांता राव ने एचएएल के प्रबंध निदेशक एवं अध्यक्ष आर माधवन को यह अनुबंध ‘एयरो इंडिया-2021’ के उद्घाटन के अवसर पर रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह की मौजूदगी में सौंपा।
इस अवसर पर राजनाथ सिंह ने कहा, ‘मैं बहुत खुश हूं की एचएएल को भारतीय वायुसेना से 83 नए स्वदेशी एलसीए तेजस एमके1ए के निर्माण का अनुबंध मिला है, जिसकी अनुमानित लागत 48,000 करोड़ रुपये से अधिक है।
गौरतलब है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता वाली सुरक्षा मामलों की मंत्रिमंडल समिति (सीसीएस) ने भारतीय वायुसेना की लड़ाकू क्षमताओं को बढ़ाने के लिए पिछले माह एचएएल से 73 तेजस एमके-1ए तथा 10 एलसीए तेजस एमके-1 प्रशिक्षु विमान खरीद की मंजूरी दी थी।