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अभिषेक सिंघवी ने राहुल गांधी के ‘जितनी आबादी, उतना हक’ नारे को लेकर जताई चिंता

कांग्रेस कार्य समिति (सीडब्ल्यूसी) की सोमवार को यहां होने वाली बैठक में जाति आधारित गणना, और राजस्थान, मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़, तेलंगाना एवं मिजोरम में आनें वाले विधानसभा चुनावों के लिए चुनावी रणनीति पर मुख्य रूप से चर्चा होने वाली है. कांग्रेस पार्टी अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे, पार्टी की पूर्व प्रमुख सोनिया गांधी और राहुल गांधी, कांग्रेस पार्टी शासित सभी राज्यों के सीएम तथा पार्टी के शीर्ष नेता राष्ट्रव्यापी जाति आधारित गणना कराने पर पार्टी के बल देने और भविष्य में पड़ने वाले इसके प्रभावों के अतिरिक्त चुनावी राज्यों में चुनाव तैयारियों एवं विमर्श पर बैठक में चर्चा करेंगे.

हिंदुओं को बांटने की कोशिश!

जाति आधारित गणना के लिए पार्टी की मांग के मद्देनजर इसके अंदर चिंता जताई गई है क्योंकि पीएम मोदी ने हाल में कांग्रेस पार्टी पर इल्जाम लगाया था कि वह अन्य पिछड़ा वर्ग (ओबीसी) की पैरोकारी कर हिंदुओं को बांटने की प्रयास कर रही है. सीडब्ल्यूसी के नियमित सदस्य एवं कांग्रेस पार्टी प्रवक्ता अभिषेक सिंघवी ने राहुल गांधी के ‘जितनी आबादी, उतना हक’ नारे को लेकर हाल में चिंता जताई थी और तर्क दिया था कि यह बहुसंख्यकवाद को स्वीकृति देने के समान है.

पोस्ट को शीघ्र ही हटा दिया

अभिषेक सिंघवी की टिप्पणी से कांग्रेस पार्टी के दूरी बनाने के बाद उन्होंने ‘एक्स’ पर किये गये अपने इस पोस्ट को शीघ्र ही हटा दिया. लेकिन जाति आधारित गणना के सियासी रूप से संवेदनशील आह्वान के चलते पार्टी के एक हिस्से में चिंता बरकरार है. इस बीच, केंद्र में सत्तारूढ़ बीजेपी (भाजपा) ने कांग्रेस पार्टी पर हमले तेज करते हुए बोला कि यह (कांग्रेस) कभी भी जाति आधारित गणना के पक्ष में नहीं रही है और (पूर्व प्रधानमंत्री) राजीव गांधी ने संसद में मंडल आयोग का विरोध किया था.

कांग्रेस ने जाति आधाारित गणना पर बल देने के वास्ते सैद्धांतिक रुख अपनाया

कांग्रेस ने बीजेपी के हिंदुत्व एजेंडा का मुकाबला करने के लिए जाति आधाारित गणना पर बल देने के वास्ते एक सैद्धांतिक रुख अपनाया है. बिहार में जाति आधारित गणना की रिपोर्ट जारी होने के बाद, कांग्रेस पार्टी शासित राजस्थान ने भी जाति आधारित सर्वेक्षण कराने के लिए शनिवार को आदेश जारी किए. छत्तीसगढ़ में भी कांग्रेस पार्टी ने घोषणा की है कि यह सत्ता में बरकरार रहने पर जाति आधारित गणना कराएगी.

कर्नाटक राज्य ने पहले कर चुका है घोषणा

कांग्रेस शासित कर्नाटक इस तरह की गणना कराने की पहले ही घोषणा कर चुका है और इसके नतीजे इस वर्ष के अंत में जारी किये जाने की आसार है. सोमवार को होने वाली सीडब्ल्यूसी की बैठक का एजेंडा पांच चुनावी राज्यों में पार्टी की रणनीति को मजबूत करना है. कांग्रेस पार्टी छत्तीसगढ़ और राजस्थान में सत्ता बरकरार रखने की प्रयास कर रही है और मध्य प्रदेश में भाजपा, तेलंगाना में हिंदुस्तान देश समिति (बीआरएस) तथा मिजोरम में मिजो नेशनल फ्रंट को सत्ता से बेदखल करने की आशा कर रही है.

विपक्षी दलों के नेता केंद्रीय एजेंसियों की कार्रवाई का कर रहे सामना

सीडब्ल्यूसी की बैठक ऐसे समय हो रही है जब कुछ विपक्षी दलों के नेता केंद्रीय एजेंसियों की कार्रवाई का सामना कर रहे हैं. इस कड़ी में हालिया कार्रवाई, दिल्ली आबकारी नीति मुद्दे में आम आदमी पार्टी के नेता संजय सिंह की गिरफ्तारी है. कांग्रेस पार्टी ने राज्यसभा सदस्य सिंह की गिरफ्तारी की आलोचना की है लेकिन पंजाब में अपने नेताओं के विरुद्ध की गई इसी तरह की कार्रवाई की ओर भी इशारा किया, जहां आम आदमी पार्टी सत्ता में है. इसके अलावा, नशीला पदार्थ से जुड़े मुद्दे में आप की किसान इकाई के प्रमुख सुखपाल खैरा की गिरफ्तारी की गई है.

सीडब्ल्यूसी की 16 सितंबर को हुई थी हैदराबाद में पहली बैठक

पुनर्गठित सीडब्ल्यूसी की 16 सितंबर को हैदराबाद में पहली बैठक होने के तीन सप्ताह बाद, कांग्रेस पार्टी में फैसला लेने वाली शीर्ष इकाई की यह बैठक हो रही है. सीडब्ल्यूसी की बैठक में राजस्थान, छत्तीसगढ़, कर्नाटक और हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्रियों के अतिरिक्त पांच चुनावी राज्यों में कांग्रेस पार्टी विधायक दल के नेता भी शरीक होंगे.

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